The Zoya Factor Review: लाइफ में अपने प्रोफेशन से सभी को प्यार होता है। सिर्फ प्रोफेशन ही नहीं जिंदगी की वो हर चीज़ जो हमें प्यारी हैं। उस तक पहुंचने के लिए हम हर बेहतरीन राह का चयन करते हैं। फिर चाहे वो रास्ता विश्वास का हो या अंधविश्वास का। वहीं जिंदगी के इसी विश्वास और अंधविश्वास के फंडे पर आधारित हैं। बॉलीवुड की डिवा सोनम कपूर की फिल्म ‘द जोया फैक्टर’ जिसमें है, क्रिकेट, लव, कॉमेडी, एस्ट्रोलॉजी का तड़का।
फिल्म में सोनम के अलावा दुलकर सलमान, संजय कपूर, सिकंदर खेर, मनु ऋषि और अंगद बेदी ने अहम भूमिका निभाई। बता दे, अभिषेक शर्मा के निर्देशन में बनी फिल्म ‘द जोया फैक्टर’ पूरी तरह से एंटरटेनिंग हैं।
The Zoya Factor Review: कहानी
फिल्म की कहानी जोया सोलंकी यानी सोनम कपूर के ऊपर आधारित है। फिल्म में दिखाया गया है, कि जोया खुद को बहुत ही अनलकी मानती है। ले सोनम कपूर किन वही उनके पापा यानि संजय कपूर जो कि एक क्रिकेटर होते हैं। वो अपनी बेटी जोया को बहुत ही लकी मानते हैं। और इसकी वजह होती है, जोया का जन्म। जो की उस दिन हुआ था जब भारत 1983 क्रिकेट वर्ल्ड कप जीत जाता है। बस पापा संजय कपूर के लिए जोया उसी दिन से लकी हो जाती है। सिर्फ पिता और भाई के लिए ही नहीं जोया, सबका लक फैक्टर बन जाती है।
हालांकि जोया का लक खुद जोया के लिए काम नहीं करता। बता दे, जोया एक ऐड एजेंसी में काम करती है, जहां उसे अकसर डांट पड़ती है, और उसका बॉयफ्रेंड भी ब्रेकअप कर लेता है। लेकिन इसी दौरान जोया की ज़िंदगी में एंट्री होती है, भारतीय क्रिकेट टीम का कप्तान निखिल खोड़ा यानि दुलकर सलमान की। जोया एक एसाइनमेंट पर जाती है, और हार से जूझ रही भारतीय टीम से मिल उन्हें अपने लक के बारे में बताती है, और इत्तेफाक से उसी दिन जोया के टीम के साथ ब्रेकफास्ट करने के बाद टीम इंडिया जीत जाती है। एक ओर जहां सबको जोया पर विश्वास होता है वहीं दूसरी ओर निखिल लक नहीं, बल्कि मेहनत में यकीन रखते हैं। बस यही टकराव दोनों के इश्क और जिंदगी में कई तूफान ला देता है।
The Zoya Factor Review: अभिनय
अभिनय की बात करें, तो दुलकर सलमान की एक्टिंग ‘द जोया फैक्टर में चार चांद लगाती नजर आई। वही सोनम कपूर ने अपने किरदार को बखूबी निभाया ।सोनम कपूर के मोनोलॉग काफी लाज़वाब रहें, जो लोगों के चेहरे पर मुस्कान लाने में कामयाब रहे। संजय कपूर, सिकंदर खेर, अंगद बेदी और मनु ऋषि ने भी कमाल अभिनय किया। हालांकि सलामी बल्लेबाज शिवी का किरदार निभा रहे, अभिलाष चौधरी और तेज गेंदबाज हैरी बने गंधर्व दीवान अपने बेहतरीन अभिनय से बाज़ी मरते नजर आए। कुल मिलाकर फिल्म के हर किरदार ने फिल्म को कामयाब करने की पूरी कोशिश की।
फिल्म की कहानी सिम्पल और एंटरटेनिंग है। फिल्म के हर सीन को मज़ेदार बनाने की कोशिश की गई है। वहीं मैच में होने वाली कमेंट्री सोने पर सुहागा रही। फिल्म में जगह-जगह पंच का इस्तेमाल हुए पंच लोगो का मनोरंजन करते नजर आए।
अगर आप कॉमेडी फिल्मों के शौकीन है, तो यह फिल्म देखने जा सकते हैं।